हल्दी-पानी और टॉर्च का जादुई प्रयोग: सोशल मीडिया पर वायरल सनसनी
जान क्या है इसके पीछे का विज्ञान
सोशल मीडिया पर हर दिन नए-नए वीडियो वायरल होते रहते हैं। इन दिनों एक अनोखा प्रयोग लोगों का ध्यान खींच रहा है, जिसे “मैजिकल हल्दी स्प्लैश” नाम दिया गया है। यह एक साधारण वैज्ञानिक प्रयोग है, जिसमें केवल हल्दी, पानी और मोबाइल की टॉर्च की आवश्यकता होती है। अंधेरे कमरे में हल्दी मिश्रित पानी के नीचे टॉर्च की रोशनी डालने पर सुनहरी चमक पैदा होती है, जो देखने में जादू जैसी प्रतीत होती है।
इस प्रयोग को लेकर सोशल मीडिया पर उत्साह चरम पर है। इंस्टाग्राम पर “मैं अगर कहूं” गाने की धुन के साथ बनी रील्स में बच्चों की मासूम प्रतिक्रियाएं, पालतू जानवरों की मजेदार हरकतें और लोगों की हंसी-मजाक से भरी टिप्पणियां इस प्रयोग को लेकर देखने को मिल रही हैं। यह नजारा न केवल बच्चों को आश्चर्यचकित कर रहा है, बल्कि बड़ों के चेहरों पर भी मुस्कान ला रहा है।
लेकिन क्या यह वाकई जादू है? नहीं, इसके पीछे है विज्ञान। इस चमकदार प्रभाव का रहस्य है हल्दी में मौजूद करक्यूमिन और टिंडल प्रभाव। हल्दी में करक्यूमिन नामक प्राकृतिक रंगद्रव्य होता है, जो इसे पीला रंग प्रदान करता है। जब हल्दी को पानी में मिलाकर उसमें टॉर्च की रोशनी डाली जाती है, तो करक्यूमिन के सूक्ष्म कण प्रकाश को बिखेरते हैं। इसे टिंडल प्रभाव कहते हैं, जो वही कारण है, जिससे आकाश नीला दिखाई देता है।
इस प्रयोग की सबसे खास बात है इसकी सादगी। न तो इसके लिए महंगे वैज्ञानिक उपकरण चाहिए, न ही कोई जोखिम है और न ही सफाई का कोई झंझट। बस हल्दी, पानी और एक टॉर्च के साथ आप बच्चों को विज्ञान का मजेदार पाठ पढ़ा सकते हैं और सोशल मीडिया पर वायरल होने का आनंद ले सकते हैं। यह प्रयोग न केवल मनोरंजक है, बल्कि शिक्षाप्रद भी है, जो विज्ञान को सरल और रोचक तरीके से समझाने में मदद करता है।



